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UNSC क्या है?|इसकी संपूर्ण जानकारी हिंदी में विस्तार से जाने |What is UNSC in Hindi

चर्चा में क्यों है ?

भारत UNSC (united Nations Security Council) में अगस्त माह का अध्यक्ष बना। भारत इसका सदस्य जनवरी 2021 से दिसंबर 2022 तक के लिए बना है। अगस्त माह में इस मीटिंग के अध्यक्षता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कि। यह पहली बार है की भारत के प्रधानमंत्री ने UNSC की मीटिंग की अध्यक्षता की। इस मीटिंग में प्रधानमंत्री ने समुद्री सीमा सुरक्षा संबंधी मुद्दा को उठाया एवं उस पर चर्चा किया। भारत ने UNSC की मीटिंग में अफगानिस्तान में हो रही घटना पर भी चर्चा किया। इस चर्चा में पाकिस्तान को शामिल होने से मना कर दिया क्योंकि पाकिस्तान वर्तमान में UNSC का सदस्य नहीं है।USA ने कहा वह UNSC में स्थाई देश का विस्तार करना चाहता है, परंतु VETO पावर Shareनहीं करना चाहता है।

UNSC (सुरक्षा परिषद) के बारे में :-

यह UN( United Nations) का छह प्रमुख अंग में से एक है UN का छह अंग महासभा(UN General Assembly) न्यास (Trust) अंतरराष्ट्रीय न्यायालय ( International court) सचिवालय (Secretariat) सामाजिक एवं आर्थिक परिषद (Social and economic council) सुरक्षा परिषद (Security council )हैं।

इसकी स्थापना 24 अक्टूबर 1945 को हुआ।

इसे दुनिया का पुलिस मेन भी कहा जाता है।

इसका पहला बैठक 17 जनवरी 1946 को हुआ।

इसका मुख्यालय न्यूयॉर्क शहर के मैनहैटन द्वीप पर है।

इसमें कुल सदस्य देशों की संख्या 15 है,जिनमें पांच स्थाई और 10 अस्थाई देश है।

स्थाई देश अमेरिका ,रूस ,फ्रांस ,इंग्लैंड और चीन है।

अस्थाई देश इस्टोनिया, आयरलैंड, केन्या ,मेक्सिको ,नाइजर ,नॉर्वे ,सेंट विंसेंट एंड ग्रेनेडइज,ट्यूनीशिया, वियतनाम और भारत है।

वह अस्थाई देश का चुनाव 2 वर्षों के लिए होता है।

स्थाई देश के पास वीटो पावर होता है! जिससे वह किसी भी प्रकार के निर्णय को रोक सकते हैं।

इसमें कार्यकारी भाषा अंग्रेजी फ्रेंच, अरबी ,चाइनीज ,रशियन और स्पेनिश है।

भारत से संबंधित बातें :-

भारत सुरक्षा परिषद का आठवीं बार सदस्य बना है।इससे पहले 2011 -2012 के लिए बना और पहली बार 1950 -1951 के लिए बना। इस सत्र में अगस्त माह का अध्यक्ष एवं दिसंबर 2022 का भी अध्यक्ष बना।

भारत G4 के उन देश में है जो सुरक्षा परिषद में स्थाई सदस्यता एवं वीटो पावर की मांग करते हैं, परंतु किसी ना किसी कारण से स्थाई सदस्यता नहीं मिल पा रहा है। स्थाई सदस्यता ना मिल पाने का कारण भारत का आर्थिक अंशदान बहुत ही कम होना, सीटीबीटी और एनपीटी पर हस्ताक्षर ना करना, कश्मीर मुद्दा का UNO में विचारधीन
होना एवं चीन का विरोध करना है। परंतु भारत इन कारणों के बावजूद स्थाई सदस्यता का प्रबल दावेदार हैं, जिसका कारण यह है , कि भारत UNO का संस्थापक देश है ,सबसे बड़ा लोकतंत्र है,अधिक सैनिक योगदान है, टिक्सन आयोग का मानना की कश्मीर भारत का क्षेत्रीय मुद्दा है एवं भारत द्वारा स्पष्ट करना की वह परमाणु हथियार का पहले प्रयोग नहीं करेगा।

यूएनएससी का काम :-

  • अंतरराष्ट्रीय शांति एवं सुरक्षा बनाए रखना।
  • निर्णय लागू करने का अधिकार एवं रोकने का अधिकार।
  • सभी मुद्दे पर पांच स्थाई सदस्य सहमति अनिवार्य।
  • जनरल महासभा में नई सदस्य की प्रवेश पर अनुमति देना।
  • दुनिया में शांति के लिए कारवाही करना, सैनिक गतिविधियांकरना।
  • किसी देश पर प्रतिबंध लगाना।
  • वास्तविक रुप से यूएन में सबसे शक्तिशाली इसे ही माना जाता है।
  • सुरक्षा परिषद ही UN के चार्टर में मुख्य रूप से बदलाव कर सकता है।

UNSC के सफलता:-

  • UNSC अब तक किसी बड़े युद्ध को होने से रोका है।
  • शरणार्थी की समस्या को काफी हद तक कम करना ।
  • परमाणु हथियार के उपयोग को अभी तक रोके रखना।
  • दो देशों के बीच की लड़ाई को ज्यादा लंबे ना चलने देना।
  • पर्यावरण से संबंधित मुद्दा पर काम करना एवं सभी देशों को जागरूक करना।

UNSC की असफलता :-

  • स्थाई देशों द्वारा काफी हद तक मनमाने ढंग से यू एन ओ को चलाना।
  • अपने हित को ध्यान रखकर वीटो का प्रयोग करना।
  • इजराइल पिलीस्तिन विवाद ,चीन तिब्बत का विवाद का सुलझा ना पाना ।
  • परमाणु हथियारों को बनाने से ना रोकना ।
  • आतंकवाद को खत्म ना कर पाना।

भविष्य में UNSC से अपेक्षा :-

  • भारत को स्थाई सदस्यता देना एवं वीटो पावर देना।
  • वीटो का सदस्य देशों द्वारा विश्व हित में प्रयोग करना।
  • लंबित समस्याओं का सुलझाना।
  • पर्यावरण से हो रही छेड़खानी को रोकना।
  • विश्व शांति एवं मानवता को बचाए रखना की कोशिश करना।

धन्यवाद!

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